क्राइमदेश

सात दिन अस्पताल में भर्ती रही थी दरिंदगी की शिकार मासूम, एक साल बाद मिला इंसाफ

आगरा – दो साल की मासूम के साथ दरिंदगी करने वाले दोषी को अदालत ने अंतिम सांस तक कैद की सजाई सुनाई है। जज ने सजा सुनाते हुए टिप्पणी की है कि दो साल की बच्ची खिलौने की तरह है, उसके साथ दुष्कर्म की कोई सोच भी कैसे सकता है। अभियुक्त के दुष्कृत्य से पूरा समाज शर्मसार हुआ है। यह राक्षसी प्रवृति का व्यक्ति है, उसे समाज के बीच रहने का अधिकार नहीं है।

घटना एक साल पहले की है। दोषी पाया गया होरी लाल उर्फ नरेश 15 अक्तूबर 2019 को मासूम को उसके घर से यह कहकर ले गया था कि खिलाने लिए ले जा रहा है। इसके बाद बच्ची को छोड़ गया था। बच्ची लहूलुहान थी। दरिंदगी की शिकार मासूम बच्ची की हालत इतनी बिगड़ गई थी कि उसे सात दिनों तक अस्पताल में रहना पड़ा था। इसके बाद जब घर आई तो भी महीने भर तक दर्द से परेशान रही।
परिजनों के मुताबिक वह करवट लेती थी तो पीड़ा से बिलख उठती थी। जज ने दोषी होरी लाल पर एक लाख रुपये जुर्माना पॉक्सो एक्ट में और एक लाख ही दुष्कर्म के मामले में लगाया है। अर्थदंड अदा न करने पर एक साल की अतिरिक्त सजा होगी। उसके भाई नारायण सिंह पर पांच हजार को अर्थदंड दिया गया है। अर्थदंड अदा न करने पर एक माह कारावास की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। दोषियों के अर्थदंड चुका देने पर इसकी आधी धनराशि पीड़िता के परिवार को दी जाएगी।

आरोपी के पकड़े जाने पर बल्केश्वर की महिलाओं ने न्यू आगरा थाना में प्रदर्शन किया था। उन्होंने आरोपी को कड़ी सजा दिलाए जाने की मांग की थी। एसएसपी ने आदेश दिया था कि इस मामले में तेजी से जांच कर सात दिन के भीतर चार्जशीट दाखिल कर दी जाए। तत्कालीन इंस्पेक्टर राजेश पांडेय ने तीन दिन में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था।

विशेष लोक अभियोजक विमलेश आनंद ने अदालत में कहा कि ऐसे दरिंदे समाज के लिए कलंक हैं। इसे सजा ए मौत दी जाए । उन्होंने कहा कि कोई ऐसी घटना के बारे में सोच भी कैसे सकता है।

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